मैंने खूब शिकायतें सुनी कि उनके बच्चे जॉब लगने के बाद उनसे बात नहीं करते पर, यह नहीं करते, वो नहीं करते, अब वो बड़े हो गए हैं पर मैं कहती हूँ हर बच्चा चाहे कितना भी बड़ा क्यों ना हो जाएं पर वो हमेशा एक कोना अपने पेरेंट्स का रखता हैं जहाँ वो चाहता हैं कि कोई आएं उसे अपनी गोद में सुलाएं, उसके सारे ग़मों को पल में रफ्फु कर दें, उसकी सारी बातें सुनें, उसके सारे गम भुला दें, पल में उसे अपना सा एहसास दें जाएं!!
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